अनोखा तीर, हरदा। जिले की टिमरनी तहसील अंतर्गत ग्राम पंचायत अहलवाड़ा में शिक्षा व्यवस्था के हालात खराब हैं। देश में शिक्षा का अधिकार आरटीई कानून लागू होने के बावजूद सरकारी स्कूलों में पढ़ाने के लिए शिक्षक नहीं है। इससे बच्चों की यहां पढ़ाई कम और टाइमपास ज्यादा है। ज्ञात हो कि हरदा जिले की टिमरनी तहसील अंतर्गत ग्राम अहलवाड़ा के प्राथमिक विद्यालय का संचालन होता है। यहां माध्यमिक स्तर तक पहली से आठवीं तक पढ़ाई होती है। शाला में लगभग 175 बच्चे पढ़ते हैं जो गरीब और आदिवासी से पहले हैं। मगर उन्हें पढ़ाने के लिए मात्र एक ही शिक्षक है। पिछले 1 साल से लेकर अभी नये शिक्षण सत्र तक एक ही शिक्षक है। ऐसी स्थिति में शिक्षा के क्या हाल होंगे इसे समझा जा सकता है।
8 कक्षाओं में अलग अलग विषय
कांग्रेस नेता जीवन सिंह गोदारा ने इस समस्या की ओर ध्यान आकर्षित कराया है। उन्होंने कहा कि समस्या यह है कि प्राथमिक और माध्यमिक दोनों स्कूल संचालन में एक शिक्षक कैसे व्यवस्था संभाल सकता है। उसे आठों कक्षाओं में हाजिरी लेने के बाद सभी कक्षाओं में अलग-अलग विषय तो पढ़ाना है। साथ में शाला का रिकार्ड, मध्याह्न भोजन योजना, स्वसहायता समूहों का भुगतान, किताब, ड्रेस, सायकल जैसे अनेक कार्य के अलावा इनका रिकार्ड संधारण कर उच्च अधिकारियों को समय पर देना है। इस कारण यहां की शिक्षा का क्या हाल होगा बताने की जरूरत नहीं है।
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