–अब 27 जनवरी को महू से निकलेगी जय भीम, जय बापू व जय संविधान यात्रा
-कमलनाथ, गोविंद सिंह ने बनाई बैठक से दूरी
-पीसीसी चीफ ने दी एकजुटता की नसीहत
अनोखा तीर, भोपाल। कांग्रेस की प्रस्तावित जय भीम, जय बापू व जय संविधान यात्रा की तिथि में तीसरी बार बदलाव किया गया है। अब यह यात्रा 26 की जगह 27 जनवरी को महू से शुरू करेगी। यात्रा की तैयारी को लेकर शुक्रवार को प्रदेश कांग्रेस समन्वय समिति व पदाधिकारियों की बैठक हुई। इसमें नेताओं ने कांग्रेस को अपनी ही पिच पर खेलने के सुझाव दिए तो पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने पार्टी कार्यकर्ताओं को नसीहत भी दी। बता दें कि कर्नाटक के बेलगावी में बीते माह संपन्न सीडब्ल्यूसी बैठक में पार्टी ने पहले 27 दिसंबर, फिर 3 जनवरी, इसके बाद 26 जनवरी और अब 27 जनवरी को यात्रा की शुरुआत करने का ऐलान किया। पिछली वर्चुअल बैठक में यात्रा की तिथि को लेकर आपत्ति जताने वाले पूर्व सीएम कमलनाथ व पूर्व नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह ने आज की बैठक से दूरी बनाकर रखी। उन्हें छोड़कर बैठक में कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी भंवर जितेंद्र सिंह, पीसीसी चीफ जीतू पटवारी, पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह, पूर्व केंद्रीय मंत्री कांतिलाल भूरिया और अरुण यादव समेत पार्टी पदाधिकारी शामिल हुए। प्रदेश प्रभारी भंवर जितेंद्र सिंह तय समय से करीब दो घंटे विलंब से बैठक में पहुंचे।
यात्रा से पहले फेरियां निकालेगी मप्र कांग्रेस
तो पहले बात इसी यात्रा की। यात्रा में कांग्रेस नेता राहुल गांधी, अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, जयराम रमेश सहित तमाम दिग्गज नेता जुटेंगे। मेजबानी यानी यात्रा को सफल बनाने का दायित्व मप्र कांग्रेस निभाएगी। आज की बैठक में तय हुआ कि यात्रा से पहले महू में रैली से पहले कांग्रेस प्रदेशभर के गांव-गांव और वार्डों में रैली निकालेगी। यह रैली सुबह-शाम फेरियों की तर्ज पर निकाली जाएगी। यह रैली 11 जनवरी शनिवार से ही शुरू की जाएगी। बता दें कि इसी दिन से बीजेपी भी प्रदेश में गौरव दिवस यात्रा शुरू कर रही है। पूर्व विधायक सुरेंद्र सिंह शेरा बोले, जिला प्रभारी और सह प्रभारियों को वार्ड और गांव के अंदर यह रैली आयोजित करनी है। लोगों को इस रैली में शामिल होने का मन बनाना है, उन पर कोई प्रेशर नहीं डालना है।
यात्रा प्रबंधन के लिए पटवारी ने बनाई 11 कमेटियां
महू में होने वाली रैली की तैयारियों और व्यवस्थाओं के लिए पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने 11 समितियां बनाई हैं। इनमें कमलनाथ और दिग्विजय सिंह जैसे दिग्गज नेताओं को भी जिम्मेदारियां दी गई हैं। इनके अलावा समन्वय समिति भी बनाई गई। समन्वय समिति में प्रदेश प्रभारी भंवर जितेंद्र सिंह, पीसीसी चीफ जीतू पटवारी, नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार, पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ, पूर्व सीएम दिग्विजयसिंह, कांतिलाल भूरिया, अरूण यादव, मप्र के सह प्रभारी संजय दत्त, चंदन यादव, आनंद चौधरी, महासचिव रण-विजय सिंह, प्रदेश उपाध्यक्ष और संगठन प्रभारी राजीव सिंह, महिला कांग्रेस अध्यक्ष विभा पटेल, सेवादल के अध्यक्ष योगेश यादव, युवा कांग्रेस अध्यक्ष मितेन्द्र सिंह और एनएसयूआई के अध्यक्ष आशुतोष चौकसे को शामिल किया गया है।
प्रभारी पर प्रभारी, यह कैसी व्यवस्था : अजय सिंह
एक अन्य बैठक पदाधिकारियों की हुई। इसमें पार्टी नेताओं ने जमकर भड़ास निकाली। बैठक में पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह ने कहा कि जिले में प्रभारी के ऊपर प्रभारी आ रहे हैं। एक की नियुक्ति के बाद दूसरे प्रभारी आ गए। अजय सिंह की बात पर जीतू पटवारी ने कहा जिले का प्रभारी तो एक ही रहेगा। आपको सिस्टम को ब्रेक करना है तो संविधान में बदलाव करना पड़ेगा। अजय सिंह जवाब देते हुए कहा संविधान में बदलाव हो या न हो। लेकिन जिले में एक प्रभारी हो। ये न हो कि एक आया और फिर दूसरा प्रभारी आ गया और कहा गया कि वो काम नहीं कर पा रहा था।
मुसलमानों पर चुप्पी, यह खतरनाक
वहीं विधायक आरिफ मसूद ने कहा कि भाजपा में हमसे लड़ने का दम नहीं है। वह हमारे लोगों को तोड़कर लड़ती है। मसूद ने कहा जब भाजपा मुसलमानों को टारगेट करती है, तो हमारे लोग चुप हो जाते हैं। जब भाजपा हिंदुत्व की बात करती है और हम बीजेपी के प्लेटफॉर्म पर खेलने लगते हैं, तो आप खेलिए, लेकिन आप हमेशा हारेंगे। विधायक फूलसिंह बरैया ने मसूद का समर्थन करते हुए कहा कि हमें सिर्फ अंबेडकरवाद की पिच पर ही खेलना चाहिए। पूर्व विस उपाध्यक्ष हिना कावरे ने कहा कि अगला चुनाव जीतें तो माना जाएगा कि हमारा संगठन मजबूत है।
पटवारी ने दी एकजुटता की नसीहत
प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी ने पार्टी नेताओं को अनुशासन रखने की नसीहत दी है। जीतू पटवारी ने कहा-कोई संगठन बिना अनुशासन के तरक्की नहीं कर सकता। इस भावना से बाहर निकलना पड़ेगा कि मुझे टिकट नहीं मिलेगा तो मैं निर्दलीय लड़ जाऊंगा। बीजेपी में कितनी सिर फुटव्वल चल रही है।
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