–११ प्रतिशत के साथ प्रदेश में चौथे स्थान पर पहुंचा
-किसान रूचि लेकर कराए फार्मर रजिस्ट्री, कई योजनाओं का मिलेगा लाभ
लोकेश जाट, हरदा। केन्द्र तथा राज्य सरकार द्वारा किसान हितैषी कई योजनाएं चलाई जा रही है। जिसको ध्यान में रखते हुए किसानों के लिए फार्मर रजिस्ट्री कार्य जिले में जोर-सोर से किया जा रहा है। अब तक जिले में ११.०८ प्रतिशत किसानों की फार्मर रजिस्ट्री बन चुकी है। जिन किसानों ने अभी तक फार्मर रजिस्ट्री नहीं बनवाई है वह भी जल्द से जल्द अपनी फार्मर रजिस्ट्री बनवा लेवे। इस फार्मर रजिस्ट्री से किसानों को किसान सम्मान निधि योजना सहित कई योजनाओं का लाभ मिल सकेगा। फार्मर रजिस्ट्री के चलते किसानों को एक आईडी नम्बर गोल्डन कार्ड जारी किया जाएगा जिसका उपयोग सभी योजनाओं में किया जा सकेगा। किसानों को अलग-अलग योजनाओं के लिए लगने वाले कागजात बार-बार देने की आवश्यकता नहीं होगी। इसी क्रम में राजस्व विभाग द्वारा अभियान चलाते हुए किसानों की फार्मर रजिस्ट्री कराई जा रही है। फार्मर रजिस्ट्री के कार्य में हरदा जिला प्रदेश में अभी चौथे पायदान पर है और विभाग जल्द से जल्द जिले को प्रथम स्थान पर लाने के लिए कार्य रहा है। फार्मर रजिस्ट्री सभी किसानों को कराना अनिवार्य है। इस लिए जिले के किसानों को इसमें रूचि लेते हुए स्वयं आनलाईन या फिर अपने पटवारी से संपर्क कर फार्मर रजिस्ट्री बनवा लेनी चाहिए। जिससे की किसानों को संबंधित सभी योजनाओं का लाभ आसानी से मिल सके। सरकार की ओर से किसानों का डिजिटल डेटा तैयार किया जा रहा है। इसके लिए फार्मर रजिस्ट्री की शुरुआत की गई है। रजिस्ट्री तैयार होने के बाद भविष्य में किसान सम्मान निधि के अलावा केसीसी, फसल बीमा, एमएसपी कृषि इंफ्रास्ट्रेक्चर फंड जैसी योजनाओं का लाभ भी इसके जरिए ही मिलेगा।
गांव-गांव पहुंचकर पटवानी बना रहे फार्मर रजिस्ट्री
किसानों को फार्मर रजिस्ट्री बनवाने के लिए सुविधा दी गई। किसान स्वयं आनलाईन सेन्टर पर जाकर अपनी फार्मर रजिस्ट्री बनवा सकते है। साथ ही किसान अपने पटवारी से संपर्क कर पटवारी के माध्यम से इस कार्य को पूरा कर सकते है। जिले में स्थित सभी पटवारी अपने क्षेत्र के गांव-गांव जाकर किसानों की फार्मर रजिस्ट्री बना रहे है। शनिवार को हंडिया तहसील के गांव इकडालिया, गोगिया, घोड़ाकुंड और गाग्यखेड़ी में पटवारी जवाहर पटेल द्वारा किसानों की केवाईसी तथा फार्मर रजिस्ट्री बनवाने का कार्य किया गया। हालांकि फार्मर रजिस्ट्री पार्टल में टैक्रिकल समस्या के चलते खासी परेशानी हुई और फार्मर रजिस्ट्री का कार्य बाधित रहा।
टेक्रिकल समस्या को समय रहते करा रहे दूर
फार्मर रजिस्ट्री कार्य में सबसे बड़ी बाधा पोर्टल में टेक्रिकल समस्या का आना है। इस कारण कई घंटो तक किसानों को इंतजार करना पड़ रहा है। हांलाकि इसके लिए तुरंत आला अधिकारियों को अवगत करा दिया जाता है और समय रहते समस्या का निराकरण कराने का प्रयास किया जाता है। किसानों को यह समझना होगा की पोर्टल पर टेक्रिकल समस्या का आना आम बात है और फार्मर रजिस्ट्री कराना बहुत जरूरी है और इसके लिए यदि थोड़ा समय देना भी पड़े तो उसमें गुरेज नहीं करना चाहिए।
तहसील वार यह है स्थिति (आंकडे २९ नवंबर २४)
तहसील किसान आईडी फार्मर रजिस्ट्री प्रतिशत
सिराली १०८१९ १७१९ १५.८९
हरदा १११६१ १३४३ १२.०३
रेहटगांव १३७३४ १३३५ ९.७२
खिरकिया ८७९४ ८५१ ९.६८
हंडिया ८३२९ ७९२ ९.५१
टिमरनी ९४१० ८५९ ९.१३
कुल ६६२४७ ६८९९ ११.०८
इनका कहना है…
किसान फार्मर रजिस्ट्री कराना सभी किसानों के लिए अनिवार्य है। अब तक ६२२४७ में से ६८९९ किसानों की फार्मर रजिस्ट्री बनाई जा चुकी है। जिसका प्रतिशत देखा जाए तो ११.०८ है। सभी किसानों से अनुरोध है कि वह स्वयं या अपने पटवारी से संपर्क कर फार्मर रजिस्ट्री बनवा लें। जिससे कि किसानों को किसान सम्मान निधि सहित अन्य योजनाओं का लाभ आसानी से मिल सके। वर्तमान में फार्मर रजिस्ट्री करने में प्रदेश में जिला चौथे पायदान पर है। कोशिश की जा रही है कि जल्द से जल्द सभी किसानों की फार्मर रजिस्ट्री बनवाई जाए। जिस हेतु सभी तहसील स्तर पर निर्देश दिए गए है।
संजीव कुमार नागू, एडीएम हरदा
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