*आठनेर मुकेश सोनी*
राम चरित्र मानस एक ऐसा ग्रंथ है जिसमें सबकुछ समाया हुआ है जो मानस में है वही दुनिया में है मानस की एक-एक पंक्ति दुनिया में दिखाई भी देती है और सुनाई भी देती है मानस हमारा ऐसा ग्रंथ है जो कभी झूठ नहीं बोलता संपूर्ण ग्रंथ है मानस उक्त उद्गार पंडित प्रमोद कुमार शुक्ला बोरी वाले ने व्यक्त करते हुए ग्राम बिजोरी बोरदेही में आयोजित रामकथा में कहे पंडित शुक्ला ने बताया कि जो दुनिया में है वही राम चरित्र मानस में है और जो मानस में है वही दुनिया में है मानस की पाच चौपाई मानव को प्रति दिवस पढ़ना चाहिए जिससे उसके पुराने कर्म नए कर्म सारे धुल जाते हैं और ईश्वर अच्छी रहा पर उसे चलना सिखाते हैं श्री शुक्ला ने बताया कि मानस में भाई से कैसे रहना है वह भी दिखाया है जैसे राम और लक्ष्मण बाली और सुग्रीव रावण और विभीषण यह सारी कथा उसमें बताई गए हैं वहीं भक्तों का भगवान के प्रति कैसी श्रद्धा होना चाहिए वह भी मानस में बताई है जैसे हनुमान जी की राम जी के प्रति श्रद्धा थी लगन था ऐसी लगन ऐसी मित्रता होना चाहिए यही मानस सभी को यही कथा सिखाती है सीता अपने ससुराल में मायके में अपना पूरा धर्म कैसे निभाती है वह भी इस मानस में बताया गया है और वही अपने जीवन में अपने को अंगीकार करना चाहिए उतारना चाहिए श्री शुक्ला ने सभी बिजोरी वासियों से कहा है कि आप प्रति दिवस 5 मिनट पांच दोहे मानस के पड़े जिससे आप हमेशा अच्छे विचारों अच्छे पदों पर चलना सीखो यही राम चरित्र मानस आपको सिखाती है राम चरित्र मानस प्रत्येक घर में होना अनिवार्य है अपन सनातनी लोग हैं और अपना यह ग्रंथ अपने घर में होना अनिवार्य है
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