गोवा- बेस्ट डेब्यू फीचर फिल्म ऑफ डायरेक्टर कैटेगरी के तहत सात डेब्यू फिल्मों को नामांकित किया गया है और गोवा में 54वें भारतीय अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव अलग-अलग स्क्रीनों पर दिखाई जा रही है। आईएफएफआई में प्रतिस्पर्धा की इस श्रेणी में भारत और विदेश दोनों से उभरते फिल्म निर्माताओं और उनकी उत्कृष्ट फिल्मों के लिए एक मंच मिलता है। इस पुरस्कार को शुरू करके आईएफएफआई कहानी कहने में नवीनता, परिप्रेक्ष्य की ताजगी और सिनेमा में उत्कृष्टता का जश्न मनाता है और उसका पोषण भी करता है।
ऑलमोस्ट एंटायरली अ स्लाइट डिजास्टर उमुत सुबासी की निर्देशित तुर्किए की यह फिल्म इस्तांबुल में चार लोगों के समकालीन जीवन की कहानी है। इस फिल्म में एक परेशान छात्र ज़ेनेप; तुर्कीए में अपने कथित भविष्य से भागने का प्रयास करती आयसे; एक असंतुष्ट विवाहित इंजीनियर मेहमत; और अपने माता-पिता के साथ रह रहा एक बेरोजगार शख्स अली मुख्य किरदार हैं। इस फिल्म का वर्ल्ड प्रीमियर इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल रॉटरडैम 2023 में हुआ था। यह फिल्म नई पीढ़ी के सामने आने वाली परेशानियों के साथ हास्य को कुशलता से जोड़ती है।
लेट मी गो मैक्सिम रप्पाज़ की निर्देशित और स्विटज़रलैंड में बनी यह फिल्म एक समर्पित मां क्लॉडाइन और उसके नए-नए प्रेमी के इर्द-गिर्द घूमती है। प्रत्येक एक पड़ोसी उसके बेटे की देखभाल करता है और वह हर बार नए पुरुषों से मिलने के लिए पहाड़ी होटल में जाती है। जब उनमें से किसी एक ने उसके लिए आगे भी साथ रहने का फैसला किया तो क्लॉडाइन को भ्रम हो गया और नई जिन्दगी का सपना देखने लगी। इस फिल्म का वर्ल्ड प्रीमियर कान 2023 में हुआ था और इसे एसीआईडी, वैंकूवर आईएफएफ 2023 और स्टॉकहोम इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल 2023 में भी दिखाया गया है।
ओकारिना अल्बान ज़ोगजानी की निर्देशित अल्बानियाई फिल्म ‘ओकारिना’ पारिवारिक मुद्दों की कहानी है जो एक नए देश में जाने पर जीवनशैली में बदलाव के कारण उभरती है और यह उनकी परिस्थितियों में सुधार करने की मजबूत आकांक्षा से प्रेरित है। शाका और सेल्विया ने उज्ज्वल भविष्य की तलाश में “नैतिकता” की अपनी भावना को चुनौती देने का विकल्प चुना। इसके विपरीत, जियोवानी की अनजाने में भागीदारी उनके चुने हुए रास्ते को अप्रत्याशित दिशा में ले जाती है। हालांकि, उनकी यह यात्रा वैसी नहीं हुई जैसा उन्होंने शुरू में सोचा था।
स्लीप जेसन यू की निर्देशित यह दक्षिण कोरियाई फिल्म एक गर्भवती पत्नी की कहानी है जो अपने पति की परेशान करने वाली नींद की आदतों को लेकर चिंतित हो जाती है। ये आदत नींद में बड़बड़ाने से शुरू होती है लेकिन परेशान करने वाले व्यवहार तक बढ़ जाती है। नींद के डॉक्टर से इलाज कराने पर भी कोई फायदा नहीं हुआ और जब पति की बुरे सपने वाली हरकतें तेज हो जाती हैं तो यह दंपति एक जादूगर के पास जाता है। यह फिल्म कान्स (क्रिटिक्स वीक), 2023, टोरंटो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल, 2023 और मेलबर्न इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल, 2023 में भी प्रदर्शित हुई।
व्हेन द सीडलिंग्स ग्रो तुर्कीए फिल्म निर्माता रेगर आज़ाद कया की निर्देशित यह फिल्म कोबाने में हुसेन और उनके परिवार के इर्द-गिर्द घूमती है, जो दही बेचकर अपना जीवन यापन करते हैं। बाज़ार में दही बेचने का एक अवसर चूक जाने के कारण उन्हें दिनभर की यात्रा करनी पड़ती है, जिसमें हेमुडे नाम के एक लड़के के साथ उनके जीवन और कोबाने युद्ध का उनके जीवन और समुदाय पर प्रभावों को दिखाया गया है।
ढाई आखर प्रवीण अरोड़ा की निर्देशित यह हिंदी फिल्म अमरीक सिंह दीप के उपन्यास ‘तीर्थाटन के बाद’ पर आधारित है। 1980 के दशक में उत्तराखंड की पृष्ठभूमि पर बनी यह फिल्म हर्षिता की यात्रा की कहानी है जो एक लेखक के साथ उसके हार्दिक प्रेम पत्रों के प्रभाव में अपमानजनक विवाह से बचने के बाद अपने जीवन को फिर से संवारती है। अपने पति की मृत्यु के बाद श्रीधर के साथ सांत्वना और सम्मान पाते हुए हर्षिता की कहानी पितृसत्तात्मक समाज में दुर्व्यवहार के सामान्यीकरण पर प्रकाश डालती है।
इराट्टा यह भारतीय फिल्म है जिसका निर्देशन रोहित एम. जी. कृष्णन ने किया है। यह फिल्म पुलिस विभाग में काम करने वाले एकसमान जुड़वां एएसआई विनोद की हत्या की पड़ताल करती है, जिसकी एक मंत्री के आगमन से ठीक पहले तीन गोलियों से हत्या कर दी गई थी। विनोद के जुड़वां भाई डीवाईएसपी प्रमोद पर जांच करने का दबाव है। उस पर विनोद के टकरावपूर्ण स्वभाव और उसकी मौत की वास्तविक परिस्थितियों पर सवाल उठाते हुए हत्या के जटिल जाल का खुलासा करना है।
उत्कृष्ट उभरती प्रतिभाओं की पहचान के लिए सर्वश्रेष्ठ डेब्यू फिल्म पुरस्कार की घोषणा अगले कुछ दिनों में की जाएगी, जबकि चल रही स्क्रीनिंग अगली पीढ़ी के निर्देशकों के दृष्टिकोण की झलक पेश करती है।