शिष्य काग्रेस प्रत्याशी तो गुरू भाजपा उम्मीदवार
बागली- विधानसभा में मुख्य मुकाबला काग्रेस व बीजेपी के बीच है दोनो ही दलों ने अपने अपने प्रत्यशी मैदान में उतार दिए हैं दिनों प्रत्याशीयो के बीच रोचक मुकाबला इस लिहाजे से भी है की काग्रेस के प्रत्याशी गोपाल भोसले ने वर्ष 1998-2000 मै बागली में उनकी शिक्षा ली है और उनके अनुसार बीजेपी प्रत्याशी मुरली भंवरा शिक्षक के रूप मे कुछ समय इन्हें पढ़ाया भी है ऐसे में बागली विधानसभा में शिक्षक व शिष्य आमने सामने हैं।
बीजेपी ने वर्तमान विधायक पहाड़सिंह कन्नौजे का टिकट काटकर सरस्वती शिशु मन्दिर के प्रधानाचार्य मुरली भंवरा को प्रत्याशी बनाया है जबकि काग्रेस ने पुलिस से सेवानिवृत्त गोपाल भोसले को काग्रेस का प्रत्याशी बनाया है। बागली बीजेपी का गढ़ माना जाता है लेकिन इस गढ़ को ढहाने के लिये काग्रेस पूरी तैयारी में जुटी है वही बीजेपी पूरी मुस्तेदी से अपने अभेद किले को बचाने का प्रयास करेगी तो कांग्रेस भी यहां अपना कब्जा जमाने के लिए पूरी तरह लग चुकी है बहर हाल बागली आरक्षित सीट है इस पर दोनों ही राजनीतिक दलों ने कोरकू ठाकुर समाज के उम्मीदवारों पर दाव लगाया है एमपी न्यूज़ के लिए पवन उपाध्याय की रिपोर्ट
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