वन अमले ने भी शासन को दी चेतावनी

schol-ad-1

 

अनोखा तीर, रहटगांव/हरदा। सर्वाधिक वनों के मामले में मध्यप्रदेश का नाम देश में अग्रणी माना जाता है। विशाल वनक्षेत्र वाले इस प्रदेश में वनों की व्यवस्था विभाग द्वारा बखूबी संभाली जा रही है। मगर अमले की समस्याओं को हल करने में अभी तक सरकार ने कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई। इससे नाराज होकर वन अमले ने आंदोलन की चेतावनी दी है।

नहीं तो अमला करेगा कलमबंद हड़ताल

मुकेश रघुवंशी, वृत्त प्रतिनिधि मध्य प्रदेश रेंजर्स एसोसिएशन नर्मदापुरम वृत्त द्वारा समस्त रेंजर की ओर से जानकारी दी कि मध्यप्रदेश शासन द्वारा हमारी जायज मांगों को नजरंदाज किया जा रहा है। हमने अपनी मेहनत से मध्यप्रदेश को टाइगर स्टेट, लेपर्ड स्टेट, घड़ियाल स्टेट बनाकर सबसे ज्यादा वनक्षेत्र उन्नत किया है। बावजूद इसके हमें दरकिनार किया जा रहा है। यदि एक सप्ताह में हमारी मांगें पूरी न हुई तो हमें लामबंद होना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश रेंजर्स एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष शिशुपाल अहिरवार के नेतृत्व में सभी रेंज ऑफीसर्स द्वारा कलमबंद हड़ताल की जाएगी। उल्लेखनीय है कि मध्यप्रदेश में 1 हजार 194 रेंजर, 1 हजार 258 डिप्टी रेंजर, 4 हजार 194 वनपाल, 14 हजार 24 वनरक्षक के साथ 20 हजार 670 कार्यपालिक अमला व 4 हजार 708 लिपिक कर्मचारियों के साथ 25 हजार 378 की संख्या में वनअमला आंदोलन करने को बाध्य होगा। ज्ञात हो कि इस अमले द्वारा 15 हजार 728 संयुक्त वन प्रबंधन जेएफएम का संचालन किया जा रहा है। यदि इस विराट वन अमले ने आंदोलन की राह पकड़ ली तो प्रदेश के वनों की व्यवस्था बिगड़ते देर नहीं लगेगी।

Views Today: 2

Total Views: 32

Leave a Reply

error: Content is protected !!