विधायक दोगने ने विधानसभा सत्र के दूसरे दिन उठाए जनहितेषी मुद्दे

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अनोखा तीर, हरदा। विधायक डॉ. रामकिशोर दोगने द्वारा मध्य प्रदेश विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दूसरे दिन मंगलवार को विधानसभा सदन में सरकार से शराब ठेकों से प्राप्त राजस्व एवं अवैध शराब बिक्री के संबंध में जानकारी मांगकर हरदा जिले में नशीले पदार्थों की बिक्री एवं खुले आम चल रहे जुए और सट्टे के कारोबार पर प्रतिबंध लगाए जाने की मांग की। हरदा विधायक द्वारा यह प्रश्न किया गया कि हरदा जिले में शासन के निर्धारित मापदंड अनुसार कुल कितनी शराब दुकान संचालित है। इससे शासन को कितना राजस्व प्राप्त होता है, हरदा जिले में ग्रामीण क्षेत्रों में बिक रही अवैध शराब को रोकने के लिए विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई है और अवैध शराब बिक्री से शासन को सालाना कितने राजस्व की हानि होती है। हरदा जिले में एमडी ड्रग, अफीम गांजा एवं अन्य प्रकार के नशीले मादक पदार्थों की बिक्री व जुआ सट्टे का कारोबार असामाजिक तत्वों द्वारा खुले आम चलाया जा रहा है, जिससे हरदा जिले एवं पुलिस प्रशासन की छवि धूमिल हो रही है। साथ ही सरकार की कार्य प्रणाली पर भी सवाल उठ रहे है। जिससे क्षेत्रवासियों में काफी रोष व्याप्त है। नशीले पदार्थों का सेवन करने व जुआ सट्टा खेलने वाले लोगों के घर बर्बाद हो जाते है एवं युवा इसके आदी होते जा रहे है। इस हेतु में मांग करता हूं कि हरदा जिले में नशीले मादक पदार्थों की बिक्री एवं जुए व सट्टे को प्रतिबंधित कर इन कार्यों में संलग्न असामाजिक तत्वों के विरुद्ध सख्त कार्यवाही की जाए।

हरदा विधायक द्वारा हरदा जिले में भवन विहीन आंगनवाड़ी केंद्रों के भवन निर्माण के संबंध में प्रश्न कर पूछा गया कि हरदा जिला अंतर्गत कुल कितने आंगनबाड़ी केंद्र स्वीकृत है व ऐसे कितने आंगनबाड़ी केंद्र हैं जो की भवनविहीन है। हरदा जिले में जो आंगनबाड़ी केंद्र भवनविहीन है उनका संचालन कहां और किस प्रकार किया जा रहा है। हरदा जिला अंतर्गत भवन विहीन आंगनबाड़ी केंद्रों के भवन निर्माण कार्य कराए जाने के संबंध में क्या योजना प्रचलन में है। इसके साथ ही शिक्षा विभाग में कार्यरत आउटसोर्स कंप्यूटर ऑपरेटर को अंडरटेकिंग कर पारिश्रमिक का विभाग द्वारा भुगतान कराये जाने की मांग की गई। हरदा विधायक डॉ दोगने द्वारा सदन को अवगत कराया गया कि आउटसोर्स कंप्यूटर ऑपरेटर का वेतन भुगतान विभाग द्वारा कंपनी के माध्यम से किया जाता है। जिससे कि कर्मचारियों को समय सीमा में वेतन का भुगतान नहीं हो पता है और विभाग द्वारा कंपनी को कर्मचारियों के वेतन हेतु अधिक राशि का भुगतान किया जाता है, परन्तु कंपनी द्वारा उक्त राशि में से मोटा मुनाफा काटकर कर्मचारियों को भुगतान किया जाता है साथ ही कर्मचारियों के वेतन में से कंपनी द्वारा बीमा राशि, पीएफ राशि काटी जाती है परंतु उसकी सही जानकारी कर्मचारियों को उपलब्ध नहीं कराई जाती है। जिसके कारण वह बीमा व पीएफ की राशि की आवश्यकता होने पर उपयोग नहीं कर पाते है। यदि इसके संबंध में कर्मचारियों द्वारा जानकारी मांगी जाती है, तो उनकी सेवा समाप्त करने की बात कही जाती है जो कि अनुचित है। उक्त समस्त कर्मचारी भी शासकीय कर्मचारियों की भांती शासन के लिए कई वर्षों से कार्य कर रहे है। इस हेतु उनके साथ हो रहे अन्याय पूर्ण व्यवहार को बंद किया जाना अति आवश्यक है परंतु विभाग द्वारा इस और ध्यान नही दिया जा रहा है। जिससे मध्य प्रदेश के समस्त आउटसोर्स कर्मचारी में काफी रोष व्याप्त है। इस हेतु मैं मांग करता हूं कि शिक्षा विभाग में कार्यरत समस्त कंप्यूटर ऑपरेटर का विभाग में संविलियन कर उन्हें विभाग द्वारा सीधे वेतन भुगतान कराया जावे। साथ ही उनके वेतन से की जाने वाली कटौती बीमा और पीएफ राशि की जानकारी भी उन्हें उपलब्ध कराई जावे ताकि वह जरूरत के समय उस राशि का उपयोग कर सके।

हरदा विधायक द्वारा अवैध शराब के प्रश्न पर वाणिज्य कर मंत्री द्वारा यह जवाब दिया गया कि हरदा जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में बिक रही अवैध मदिरा को रोकने के लिए विभाग द्वारा सतत निगरानी रखी जा रही है। मुखबिर से प्राप्त सूचना के आधार पर स्वत: संज्ञान से विभाग के कार्यपालिक बल द्वारा अवैध मदिरा विनिर्माण, परिवहन, संग्रहण तथा विक्रय के विरुद्ध मध्य प्रदेश आबकारी अधिनियम 1915 के सुसगत धाराओं के अंतर्गत प्रतिबंधात्मक कार्यवाही की की जा रही है। महिला बाल विकास मंत्री द्वारा यह जवाब दिया गया कि हरदा जिले में 699 आंगनबाड़ी केंद्र संचालित है। जिसमें से 412 विभागीय भावनाओं में 163 अन्य शासकीय भवनों में एवं 124 आंगनबाड़ी केंद्र किराए के भावनो में संचालित है। भवन विहीन आंगनबाड़ी केंद्रों के निर्माण कार्य कराए जाने के लिए वर्तमान में कोई योजना प्रचलन में नहीं है। विभाग द्वारा आंगनबाड़ी केंद्रों के लिए भवन निर्माण की स्वीकृति वित्तीय संसाधनों की उपलब्धता के आधार पर राज्य मद की योजना 5360 अंतर्गत जारी की जाती है। वित्तीय वर्ष 2024-25 में राज्य आयोजना मद अंतर्गत जिला हरदा के तीन आंगनबाड़ी भवनों के निर्माण की स्वीकृति जारी की गई है।

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