अंतरराष्ट्रीय जाट दिवस…. वर्चुअल संवाद के जरिये सशक्त समाज पर जोर
समाजिक सदस्यों ने रखे अपने विचार - जाट समाज की एकजुटता पर फोकस
अनोखा तीर, हरदा। विगत 13 अप्रैल अंतरराष्ट्रीय जाट दिवस के अवसर देश के विभिन्न राज्यों में यह मौका जाट एकजुटता के रूप में मनाया गया। जहां समाज के सक्रिय पदाधिकारियों समेत राजनैतिक, औद्यौगिक तथा अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त हस्तियों ने शिरकत की। इसी क्रम में जाट समाज इकाई हरदा ने जूम एप के माध्यम से वर्चुअल जाट संवाद का आयोजन किया गया। जिसका उद्देश्य भारतवर्ष में फैले जाट समाज को एक मंच पर लाना है। वर्चुअल जाट संवाद में मुख्य वक्ता जितेंद्र पवार, रोहित सिंह और दिनेश बेनीवाल विशेष रूप से शामिल रहे। इस मौके पर दिनेश बेनीवाल ने कहा कि जाट समाज के युवाओं को समाजिक इतिहास से रूबरू होने के साथ साथ महापुरुषों की जीवनी तथा जाट धरोहर से परिचित होने की आवश्यकता है। उन्होंनें कहा कि भारतवर्ष में जाट समाज अलग-अलग खंडो में निवासरत है। जहां का समाजिक ताना-बाना कुछ ऐसा है कि रिश्तेदारियां आसपास के गांवों में करते हैं। इस कारण मध्यप्रदेश के जाट हरियाणा और पश्चिमी यूपी से कम कनेक्ट हो पाए हैं। इस दिशा में कारगर कदम उठाएं जाने की जरूरत है। मुख्य वक्ता रोहित सिंह अधिवक्ता दिल्ली-चंडीगढ़ हाईकोर्ट जो कि जाट इतिहास पर लंबे समय से काम कर रहे हैं। उन्होंने अपने अनुभव साझा करते हुए कहा कि समाज को महापुरुषों का बलिदान और गौरवशाली इतिहास को संरक्षित करने की आवश्यकता है। जाट समाज के संजय खेरवा ने कहा चूंकि जाट समाज मध्य प्रदेश के अलग-अलग क्षेत्रो में निवास करता है तो हमारी बोली अलग है। साथ ही समाज में अनेक गोत्र हैं। इन सबके बीच लोक देवता और महापुरुषों के माध्यम से समाज को एक करने का समय है। कार्यक्रम में अन्य वक्ता राधे जाट ने महत्वपूर्ण स्थानों पर समाज के महापुरुषों की प्रतिमाएं स्थापित करने पर जोर दिया। आयोजित वर्चुअल संवाद का संचालन रंजीत किसानवंशी ने किया ।